सोलर के प्रति जागरुक करने की कोशिश, रेलवे स्टेशनों पर फ्री मोबाइल चार्जिंग सुविधा!

सोलर एनर्जी यानी की सौर्य उर्जा को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकारों के साथ साथ केंद्र सरकार ने भी पिछले कई सालों में कदम उठाए है।2022 तक सोलर रूफटॉप प्रोजेक्‍ट्स के जरिये 100 गीगावाट बिजली पैदा करने के अपने महत्‍वाकांक्षी लक्ष्‍य को हासिल करने के लिए केंद्र सरकार एक नई पॉलिसी रेंट ए रूफ पर काम कर रही है। इसके अलावा सरकार लोगों को सोलर एनर्जी के प्रति जागरुक करने के लिए कई तरह के जागरुकता अभियान भी चला रही है। सरकार के इसी पहल को एक कदम और आगे बढ़ाया है फनसोलर नाम की एक निजी नॉन प्रॉफिट कंपनी ने। कंपनी ने लोगों को सोलर एनर्जी के प्रति जागरुक करने के लिए मुंबई के पश्चिम रेलवे के 20 रेलवे स्टेशनों पर सोलर मोबाइल चार्जिंग प्वाइंट लगाने का फैसला किया है।

आम यात्रियों को फायदा

रेलवे स्टेशनों पर मोबाइल सोलर चार्जिंग प्वाइंट रखने से यात्रियों को इसका काफी फायदा होता है। रेलवे स्टेशनों पर कई बार भारी भरकम भीड़ लग जाती है और कई बार तो जल्दबाजी में ट्रेन पकड़ने के लिए घरों से मोबाइल को आधे चार्जिंग से ही निकाल लिया जाता है। रेलवे स्टेशनों पर इस तरह के चार्जिंग प्वाइंट लगाने से ना ही सिर्फ यात्रियों के समय की बचत होती है बल्की बिजली के बिल में भी कमी आती है। अगर ट्रेन आने में देरी होती है तो यात्री इन चार्जिंग प्वॉइंट पर फ्री में मोबाइल चार्ज कर सकते है।

जागरुक करने की कोशिश

फनसोलर कंपनी के निर्देशक हर्ष मेहता का कहना है की "मुंबई जैसे शहर में लगातार भागदौड़ लगी रहती है, कई बार लोग इतने जल्दबाजी में होते है की मोबाइल को पूरा चार्ज नहीं कर पाते या फिर बिल्कूल नहीं भी नहीं कर पाते, हमने लोगों मे सोलर एनर्जी यानी की सौर्य उर्जा के इस्तेमाल के प्रति जागरुकता लाने के लिए ये कोशिश की है, हमने पश्चिम रेलवे के चर्चगेट से लेकर पालघर तक के बीच 20 स्टेशनों पर ऐसे चार्जिंग प्वॉइंट लगाने का फैसला किया है , यह चार्जिंग प्वॉइंट पूरी तरह से सोलर पावर पर चलते है , एक बार में ये चार्जिंग प्वॉइंट 100 से भी ज्यादा मोबाइल को चार्ज कर सकते है , इन चार्जिंग प्वाइंट पर एक साथ 8 मोबाइल को चार्ज किया जा सकता है, एक सोलर पैनल की लाइफ 25 साल की होती है , जिससे बीजली के बिल की बचत तो होती है और पर्यावरण पर भी इसका बुरा असर नहीं होता है , इसके साथ ही कंपनी ने अपनी वेबसाइट पर एक कैलकुलेटर की सुविधा भी दी है की जिसका इस्तेमाल कर आप पता लगा सकते है की बिजली के इस्तेमाल और सोलर एनर्जी के इस्तेमाल से आनेवाले बिल में कितना अंतर होता है"

तेजी से बढ़ रहा सोलर एनर्जी का इस्तेमाल

आपको बता दे की  पिछलें कुछ सालों में देश में सोलर एनर्जी का इस्तेमाल बढ़ता जा रहा है।  मुंबई जैसे शहरी इलाको में भी अब लोगों ने धीरे धीरे सोलर एनर्जी की तरफ रुख करना शुरु कर दिया है। कई रिहायशी सोसायटी ने भी अपने बिजली के बिल बचाने के लिए सोलर एनर्जी का इस्तेमाल शुरु किया है।   मुंबई की एशियाटिक लाइब्रेरी ने भी अपने परिसर में सोलर एनर्जी के इस्तेमाल का प्रस्ताव रखा है।

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