फाइव स्टार होटल्स हो या रेस्टोरेंटस, पब हो या बार या फिर फेरीवाले हो या स्टॉल धारक अगर इनमे से कोई भी खाद्य पदार्थ बनाता है, बेचता है या फिर पकाता है तो इन्हे FDA (फ़ूड ड्रग अथॉरिटी) में लाइसेंस लेकर अपना रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य होती है। लेकिन एफडीए को ऐसी कई शिकायतें मिली हैं कि कई लोग ऐसे भी हैं जो इन नियमों का उल्लंघन कर धड़ल्ले से खाद्य पदार्थ बेच रहे हैं। एफडीए ने आगे बताया कि कई लोगों के पास लाइसेंस हैं लेकिन उसका नवीनीकरण (renewal) नहीं करवाते हैं।
इसके मद्देनजर एफडीए ने अब निर्णय लिया है कि और भी कड़े कानून बना कर इसे कड़ाई से लागू किया जायेगा। सोमवार 8 जनवरी को एफडीए ने एक जीआर जारी कर नियमों का उल्लंघन कर रहे लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने का आदेश दिया। इसके मुताबिक अगर जिनके पास लाइसेंस नहीं है और जिन्होंने अपना रजिस्ट्रेशन नहीं करवाया हो और जिन्होंने अपने लाइसेंस का नवीनीकरण भी नहीं करवाया हो उन पर तत्काल केस दर्ज किया जाए।
एफडीए के सह आयुक्त (अन्न) बृहन्मुंबई शैलेश आढाव ने कहा कि एफडीए फल, सब्जी, चिकन-मांस, अंडा, पान, सोड़ा, शरबत, दूध, मिठाई, शराब, पानीपुरी, आइसक्रीम, बेकरी, तेल जैसी वस्तुएं बेचने वाले छोटे बड़े सभी होटलों और दुकानों पर कड़ी नजर रखने का आदेश दिया गया है। एफडीए के कानून के मुताबिक खाद्य पदार्थ बेचने वाले फेरीवालों से लेकर फाइव स्टार होटल और रेस्टोरेंट तक सभी के लिए लाइसेंस और रजिस्ट्रेशन आवश्यक है। इसकी समय सीमा 1 साल से लेकर 5 साल तक होती है, जिन्होंने 2012 में पांच साल के लिए रजिस्ट्रशन करवाया था उनकी सीमा 2017 में समाप्त हो गयी है लेकिन उन्होंने अभी तक नवीनीकरण नहीं करवाया।
आढाव ने आगे कहा कि फेरीवालों को तुरंत अपना रजिस्ट्रेशन करवाना चाहिए और जिन्होंने अपना नवीनीकरण नहीं करवाया है उन्हें कार्रवाई करने को भी कहा गया है। यही नहीं आढाव ने कहा कि उन्हें तुरंत जेल भी भेजा जायेगा। इस अपराध के लिए 6 महीने की कैद और सात लाख रूपये का आर्थिक दंड निर्धारित किया गया है।