Ganpati Utsav: प्रसाद पर रहेगी FDA की नजर

गणेशोत्सव का त्यौहार अब काफी करीब है, बाजारों और मिठाइयों की दुकानों पर दिन भर भीड़ जमा रहती है। इसी भीड़ का फायदा उठा कर कुछ दुकानदार पुरानी और बासी हो चुकी मिठाइयों को भी बेच देते हैं जिनके खाने से लोगों के बीमार पड़ने की संभावना बढ़ जाती है। इसीलिए FDA (खाद्य एवं औषधि प्रशासन) ने निर्णय लिया है कि वह सभी मिठाइयों की दुकानों और खाद्यपदार्थों पर भी कड़ी नजर रखेगी, इसके लिए FDA की तरफ से एक मुहीम भी चलाया जा रहा है।

नकली प्रसाद से फूड पॉइजन

गणेशोत्सव के मद्देनजर मिठाइयों की बिक्री बढ़ जाती है, बप्पा का प्रसाद मोदक के रूप में पाकर लोग धन्य हो जाते हैं। बड़े-बड़े मंडलों सहित लाखो परिवार भी प्रसाद के रूप में बप्पा को मोदक चढ़ाते हैं। लेकिन इसी भक्ति का कुछ दुकानदार गलत फायदा उठाते हैं। वे दुकानदार ताज़ी मिठाइयों के बीच नकली मेवे से बने मिठाइयों के साथ-साथ बासी और पुरानी मिठाइयां भी मिला कर बेच देते हैं। दुकानदार की इस गलत हरकत से अनजान लोग धडल्ले से मिठाइयां खरीदते हैं और प्रसाद के रूप में बांट कर खाते और खिलाते हैं। इन मिठाइयों को बच्चे भी बड़े चाव से खाते हैं। लेकिन इन बासी मिठाइयों को खाने से बच्चों सहित बड़ों के भी फूड पॉइजन होने की संभवना बनी रहती है।  

FDA की कमिश्नर पल्लवी दराडे का कहना है कि नकली मेवा, बासी पेड़ा और लड्डू जैसे मिठाइयों मेंहानिकारक तत्व होते हैं, जिनके खाने से स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ता है। साथ ही फूड पॉइजन के भी होने की संभावना बढ़ जाती है। इसीलिए FDA मुहीम चला कर ऐसे लोगों पर नजर रख रहा है।

हानिकारण मिठाइयों को बनाते या फिर नकली सामान का उपयोग करते हुए आगे कोई पकड़ा जाता है तो उसकी दूकान का लाइसेंस कैंसिल होने के साथ-साथ दुकानदार को जेल भी हो सकती है।

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