जलवायु परिवर्तन के कारण संक्रामक रोगों में वृद्धि

मुंबई (Mumbai) और आसपास के इलाकों में पिछले कुछ दिनों से बारिश(Mumbai rain)  और ठंड (Cold) का मौसम देखा जा रहा है।  इस विचित्र वातावरण के कारण बुखार, सिरदर्द और सर्दी बढ़ गई है। कई मुंबईकर संक्रामक बुखार(Fever)  से पीड़ित हैं, जबकि कुछ मलेरिया(Maleria)  से पीड़ित हैं।  कोरोना के बढ़ते प्रचलन और इसके डर के कारण, कई लोग कोरोना (Coronavirus) होने से चिंतित हैं।

कोरोना को लेकर चिंता

पिछले महीने की तुलना में बुखार ओपीडी के रोगियों की संख्या में थोड़ी वृद्धि हुई है, लेकिन इनमें से अधिकांश रोगियों में कोरोना के लक्षण दिखाई नहीं देते हैं।  वह वायरल बुखार से पीड़ित है और एहतियात के तौर पर उसका चिकित्सीय परीक्षण चल रहा है।  उचित चिकित्सा के बाद बुखार कम हो जाता है।

जलवायु परिवर्तन के कारण होने वाली संक्रामक बीमारियों की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है।  इसलिए, यदि आप सर्दी, खांसी, बुखार के लक्षणों का अनुभव करते हैं, तो तुरंत डॉक्टर से परामर्श करना आवश्यक है।  मुंबई के कुछ समाजों में कोरोना के मरीज़ अभी भी समर्थित नहीं हैं।  यदि परिवार अलग हो जाते हैं, तो भी वे एक महीने तक रहने के लिए मजबूर हो जाते हैं।

प्रत्येक बुखार  कोरोना नही होता। लेकिन इसे चिकित्सकीय रूप से इलाज करने की आवश्यकता है, यह आग्रह नगरपालिका द्वारा लगातार व्यक्त किया जा रहा है।  कोरोना परीक्षण अब हर जगह उपलब्ध हैं।  साथ ही, एंटीजन टेस्ट रिपोर्ट आधे घंटे में आ जाती है।  इसलिए, नगरपालिका प्रशासन बुखार के समय पर निदान के लिए लगातार अपील कर रहा है।

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