कैबिनेट बैठक में मुंबई क्षेत्र में बड़ी निजी, सरकारी और अर्ध-सरकारी भूमि पर स्थित मलिन बस्तियों के विकास हेतु बृहन्मुंबई मलिन बस्ती पुनर्वास प्राधिकरण के माध्यम से मलिन बस्ती क्लस्टर पुनर्विकास योजना के कार्यान्वयन को मंज़ूरी दी गई। बैठक की अध्यक्षता मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने की।(Group Redevelopment Scheme for slum redevelopment to be implemented under SRA)
एकीकृत और टिकाऊ पुनर्विकास
मुंबई में मलिन बस्तियों के साथ-साथ कुछ पुरानी जर्जर इमारतें, ढाँचे, किरायेदारों द्वारा अधिगृहीत इमारतें, निर्माण के लिए अनुपयुक्त स्थान और कुछ बस्तियाँ भी हैं। शहरी नियोजन की दृष्टि से ऐसे क्षेत्रों का एकीकृत और टिकाऊ तरीके से पुनर्विकास करने के लिए यह क्लस्टर पुनर्विकास योजना लागू की जाएगी। ताकि सभी नागरिक सुविधाओं का आधुनिक और वैज्ञानिक तरीके से विकास किया जा सके और यहाँ के नागरिकों के जीवन स्तर में सुधार हो सके। इसके लिए क्लस्टर पुनर्विकास की एक विशेष योजना तैयार की गई है। इस योजना के प्रावधानों के अनुसार, मलिन बस्ती पुनर्वास प्राधिकरण, मलिन बस्ती क्लस्टर पुनर्विकास योजना के लिए नोडल एजेंसी होगी।
उच्च-स्तरीय समिति
स्लम पुनर्वास प्राधिकरण, न्यूनतम 50 एकड़ के सन्निहित क्षेत्रफल वाले भूमि के एक समूह की पहचान करेगा, जिसमें स्लम क्षेत्र का 51 प्रतिशत से अधिक क्षेत्र शामिल होगा। मुख्य कार्यकारी अधिकारी, स्लम पुनर्वास प्राधिकरण, ग्रेटर मुंबई द्वारा पहचाने गए समूह क्षेत्र को अतिरिक्त मुख्य सचिव, आवास की अध्यक्षता में गठित एक उच्च-स्तरीय समिति के अनुमोदन और उसके बाद सरकार द्वारा अनुमोदन प्राप्त होगा।
क्लस्टर पुनर्विकास योजना
यह पुनर्विकास योजना किसी संयुक्त उद्यम के माध्यम से कार्यान्वयन हेतु किसी सरकारी एजेंसी को दी जाएगी या किसी निजी डेवलपर को निविदा प्रक्रिया के माध्यम से नियुक्त किया जाएगा या यदि किसी डेवलपर के पास ऐसी क्लस्टर पुनर्विकास योजना के कुल क्षेत्रफल के 40 प्रतिशत से अधिक क्षेत्रफल है, तो डेवलपर के माध्यम से क्लस्टर पुनर्विकास योजना को कार्यान्वित करने का निर्णय सरकार के पूर्व अनुमोदन से उच्च-स्तरीय समिति की सिफारिश पर लिया जाएगा।
केंद्र सरकार और उसके अधीनस्थ उपक्रमों की भूमि के मामले में, यदि केंद्र सरकार/संबंधित उपक्रम अपनी सहमति देते हैं, तो यह भूमि स्लम क्लस्टर पुनर्विकास योजना में शामिल की जाएगी।
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