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इंडिगो विवाद: प्रमोटर ने कहा, हमसे बेहतर पान की दूकान

इंडिगो देश की सबसे बड़ी एयरलाइंस में से एक है। इसकी स्थापना साल 2004 में राकेश गंगवाल और राहुल भाटिया ने मिलकर की थी। जबकि कंपनी के विमान ने पहली उड़ान 4 अगस्त 2006 को भरी थी। इंडिगो देश की सबसे बड़ी एयरलाइंस में से एक है। इसकी स्थापना साल 2004 में राकेश

इंडिगो विवाद: प्रमोटर ने कहा, हमसे बेहतर पान की दूकान
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देश की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनी इंडिगो एयरलाइन में भी विवाद छिड़ गया है। हालांकि पहले यह विवाद अंदुरुनी था लेकिन मंगलवार को खुलकर सामने आ गया। कंपनी के प्रमोटर राकेश गंगवाल (66) ने को-फाउंडर राहुल भाटिया (58) पर गड़बड़ी करने के गंभीर आरोप लगाए हैं। यही नहीं राकेश गंगवाल ने तो उदहारण देते हुए यहां तक का दिया कि, एक पान की दुकान भी इससे  बेहतर तरीके से मामलों को सुलझा सकती है। आपको बता दें कि इंडिगो देश की सबसे बड़ी एयरलाइंस में से एक है। इसकी स्थापना साल 2004 में राकेश गंगवाल और राहुल भाटिया ने मिलकर की थी। जबकि कंपनी के विमान ने पहली उड़ान 4 अगस्त 2006 को भरी थी। 

राकेश गंगवाल ने कंपनी से संबंधित हुए पार्टी ट्रांजेक्शंस को लेकर सवाल उठाया और भाटिया पर आरोप लगाते हुए कहा कि, भाटिया ने शेयरहोल्डर्स के एग्रीमेंट से  इंडिगो पर असामान्य तरीके से नियंत्रण कर लिया  है। कंपनी संचालन से जुड़े सामान्य नियम और कानूनों का भी पालन नहीं किया जा रहा। अगर तत्रंकाल  प्रभावी कदम नहीं उठाए गए तो परिणाम बेहद ही चिंताजनक होंगे।

इस बाबत गंगवाल ने 12 जून को इंडिगो के बोर्ड को पत्र लिखकर ईजीएम आयोजित करने की भी मांग की थी लेकिन, भाटिया ने प्रस्ताव का विरोध करते हुए कहा था कि गंगवाल ईगो हर्ट होने की वजह से ऐसी बातें कर रहे हैं। उनकी अनुचित मांगों पर ध्यान नहीं देना चाहिए। भाटिया के अनुसार  गंगवाल हिडन एजेंडे के साथ काम कर रहे हैं और पार्टी ट्रांजेक्शंस के मुद्दे पर अलग से बात करने के लिए तैयार नहीं हैं।

गंगवाल ने इस बारे में मार्केट रेग्युलेटर सेबी से भी शिकायत की है। सेबी ने एयरलाइन के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स से 19 जुलाई तक जवाब मांगा है। गौरतलब है कि राकेश गंगवाल की इंडिगो में 37% और राहुल भाटिया की 38% हिस्सेदारी है।

सबकुछ ठीक 
इसी बीच यह खबर भी मिली है कि इंडिगो के सीईओ रोनजॉय दत्ता ने अपने कर्मचारियों को एक पत्र के माध्यम से इस बात की सुचना दी है कि कंपनी में सब कुछ ठीक है। यह विवाद केवल प्रमोटरों के बीच का है। इससे कंपनी पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। दत्ता ने पत्र में आगे लिखा है कि इन मुद्दों को जल्द ही सुलझा लिया जाएगा।

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