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यूक्रेन से महाराष्ट्र लौटने वाले छात्रों का शैक्षणिक नुकसान नहीं होने दिया जाएगा

महाराष्ट्र के चिकित्सा शिक्षा मंत्री अमित देशमुख ने कहा की MBBS छात्रों के लिए तय करेंगे नई नीति

यूक्रेन से महाराष्ट्र लौटने वाले छात्रों का शैक्षणिक नुकसान नहीं होने दिया जाएगा
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यूक्रेन(ukrain)  से महाराष्ट्र(maharashtra) लौटे 250 छात्रों से जानकारी जुटाई गई है और उनसे बातचीत की गई है। छात्रों के आगे के पाठ्यक्रम के साथ-साथ भारतीय विश्वविद्यालयों में उनके प्रवेश के संबंध में नीति के लिए उपाय किए जाएंगे। चिकित्सा शिक्षा मंत्री अमित देशमुख ( amt deshmukh) ने कुलपति के अध्ययन समूह का दायरा बढ़ाने और सभी मुद्दों की सकारात्मक तरीके से जांच कर एक माह के भीतर रिपोर्ट देने के निर्देश दिए हैं। 

उन्होंने कहा कि किसी भी परिस्थिति में यूक्रेन से छात्रों की वापसी को शैक्षणिक रूप से नुकसान नहीं पहुंचाया जाएगा। यूक्रेन में पढ़ने वाले छात्रों को लेकर विधान भवन में एक बैठक हुई। इस बैठक में विधायक डॉ. मनीषा कायंडे, विधायक धीरज देशमुख, विभाग सचिव सौरभ विजय, स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. माधुरी कानिटकर, रूस शिक्षा लिंकन अमेरिकी विश्वविद्यालय के कुलपति पवन कपूर, डॉ. एसएस नार्थ एवं निजी विश्वविद्यालयों के प्रतिनिधि एवं अधिकारी उपस्थित थे।

चिकित्सा शिक्षा मंत्री अमित देशमुख ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार सकारात्मक है कि छात्रों की मानसिक स्थिति को नुकसान नहीं होगा। यूक्रेन में, 33 विश्वविद्यालय चिकित्सा शिक्षा प्रदान कर रहे हैं, 18,000 छात्र अध्ययन कर रहे हैं जिसमे से  2,000 छात्र अकेले महाराष्ट्र से हैं। हमारे देश में चिकित्सा शिक्षा के लिए राष्ट्रीय पात्रता प्रवेश परीक्षा आयोजित की जाती है। हालांकि, रूस और यूक्रेन में, इस परीक्षा के बिना प्रवेश दिया जाता है। साथ ही, ट्यूशन फीस भारत की तुलना में कम है। इन छात्रों को भारतीय विश्वविद्यालयों में प्रवेश के लिए फिर से बैठना होगा या अन्य उपाय करने की आवश्यकता है। 

चिकित्सा शिक्षा मंत्री  देशमुख ने कहा कि इस बात पर चर्चा करने के लिए केंद्र को एक प्रस्ताव प्रस्तुत किया जाएगा कि क्या छात्रों को अन्य देशों के साथ तालमेल बिठाने में मदद मिलेगी क्योंकि रूस और यूक्रेन जैसे 7 से 8 पड़ोसी देशों में पाठ्यक्रम समान है। भारत लौटने वाले छात्रों को भी सामान्य प्रवेश परीक्षा के लिए मानसिक रूप से तैयार होने की आवश्यकता है। साथ ही, हमें यह विचार करना होगा कि क्या यूक्रेनी सरकार ऑनलाइन शिक्षा प्रदान करेगी।

जिन्होंने अपनी शिक्षा पूरी कर ली है और इंटर्नशिप कर चुके हैं, उन्हें पहले काम दिया जाना चाहिए। यहां विश्वविद्यालय में पढ़ने वाले छात्रों के लिए कक्षाएं, प्रयोगशालाएं, पुस्तकालय उपलब्ध कराने की व्यवस्था की जाएगी, जिसके लिए संबंधित देश के विश्वविद्यालय से चर्चा की जाएगी।

मंत्री देशमुख  अमित देशमुख ने कहा की  कुलपति द्वारा नियुक्त अध्ययन समूह उन्हें इन सुझावों को अध्ययन के लिए शामिल करना चाहिए और एक महीने के भीतर एक रिपोर्ट प्रस्तुत करनी चाहिए। ताकि सरकार इसका इस्तेमाल नीति निर्माण में कर सके। 

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