महाराष्ट्र सरकार ने क्रिसमस को देखते हुए जारी की गाइड लाइन

इस बार चर्च में क्रिसमस प्रार्थना के लिए अधिकतम 50 लोगों की उपस्थिति की ही अनुमति दी गई है।

महाराष्ट्र सरकार ने क्रिसमस को देखते हुए जारी की गाइड लाइन
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देश ही नहीं दूनिया भर में क्रिसमस (Christmas) बड़े उत्साह और धुुमधाम के साथ मनाया जाता था। लेकिन इस बार कोरोना (Cobid19 संक्रमण के कारण कई देशों मे यह इस त्योंहार का रंग फीका पड़ सकता है। मंगलवार को महाराष्ट्र सरकार (maharashtra government) ने सरकारी नियमों के अनुसार त्योहार मनाने का निर्देश दिया है। गृह मंत्री अनिल देशमुख (home minister anil deshmukh) ने इस साल क्रिसमस को सिंपल तरीके मनाने की अपील की है। साथ ही लोगों से कोरोना नियमों का पालन करने की भी गुजारिश की है। इस बबात गृह विभाग की तरफ से गाइड लाइन भी जारी किए गए हैं।

गृहमंत्री ने कहा, क्रिसमस के मौके पर सैकड़ों की संख्या में ईसाई समुदाय के लोग क्रिसमस की प्रार्थना के लिए चर्च में इकट्ठा होते हैं। इससे कोरोना संक्रमण में वृद्धि की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है। इसीलिए कोरोना वायरस (corona virus) को देखते हुए ईसाइ समुदाय को इस साल क्रिसमस सरल तरीके से मनाना चाहिए।

इस बार चर्च में क्रिसमस प्रार्थना के लिए अधिकतम 50 लोगों की उपस्थिति की ही अनुमति दी गई है। साथ ही चर्च को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है कि प्रार्थना के समय कोई भीड़ न हो और सामाजिक दूरी बनी रहे।  विशेष रूप से, प्रार्थना शुरू होने से पहले चर्च में सेनेटाइज की व्यवस्था की जानी चाहिए। और लोगों को यह भी ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि वे भी मास्क (mask) पहनें और सैनिटाइज़र का उपयोग करें।

गृह मंत्रालय द्वारा जारी दिशा निर्देश इस प्रकार हैं-

क्रिसमस के मौके पर चर्च में प्रभु यीशु के जीवन के दृश्य और क्रिसमस वृक्ष लगाए जाते हैं। इसे देखने के लिए काफी लोग आते हैं। इसलिए उस स्थान पर सोशल डिस्टेंस (social distance) का पालन करना आवश्यक है।

प्रभु यीशु मसीह के गुणगान के लिए चर्च में अधिकतम 10 गायक ही शामिल हो सकते हैै। साथ ही सभी को अलग-अलग माइक देना होगा।

60 वर्ष से अधिक उम्र के वरिष्ठ और 10 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को जितना हो सके घर से बाहर जाने से बचना चाहिए, उन्हें घर पर ही त्योहार मनाया जाना चाहिए।

आयोजकों को आम लोगों के लिए ऑनलाइन प्रार्थना की व्यवस्था करनी चाहिए। जिसका फायदा उन लोगों को भी मिलेगा जो घर पर रहेंगे।

धार्मिक / सांस्कृतिक कार्यक्रम या जुलूस के आयोजन को अनुमति नहीं होगी।

पटाखे न जलाएं।  ध्वनि प्रदूषण के संबंध में नियमों और शर्तों का सख्त पालन करना जरूरी होगा।

यह देख लें कि क्या आप चर्च में 31 दिसंबर को होने वाली प्रार्थना आधी रात को नहीं बल्कि शाम 7 बजे या उससे पहले ही कर लेने की योजना बना सकते हैं? अगर हां, तो अच्छी बात होगी।

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