मुंबई में लोकल ट्रेन के सफर को सुरक्षित बनाने के लिए अरबों रुपये खर्च करके हर स्टेशन पर सीसीटीवी लगाए गए है। हालांकी रेलवे के इस पहल के बाद भी यात्रियों की सुरक्षा पर सवालियां निशान तो अभी भी लगा ही है। आरटीआई कार्यकर्ता शकील अहमद शेख को पुलिस विभाग ने जानकारी दी है की रेलवे परिसर में पिछलें छह सालों में 8 करोड़ 28 लाख 24 हजार 399 रुपये के सामानो की चैन स्नैचिंग की घटनाएं हुई है।
आरटीआय कार्यकर्ता शकील अहमद शेख जीआरपी से आरटीआई के जरिये साल 2013 से लेकर साल 2018 तक मुंबई उपनगर रेलवे परिसर में कितनी चैन स्नैचिंग की वारदाते हुई थी इस पर जानकारी मांगी थी। इसके साथ ही उन्होने इस बात की भी जानकारी मांगी थी की चैन स्नैचिंग में कुल कितने रकम की स्नैचिंग हुई और कितने संपत्ति को फिर से बरामद कर लिया गया है। रेलवे पुलिस विभाग के सरकारी सूचना अधिकारी और सहायक पुलिस आयुक्त ने इस आरटीआई का जवाब शकील अहमद शेख को दिया।
आरटीआई से मिली जानकारी के मुताबिक मुंबई में 1 जनवरी 2013 से लेकर दिसंबर 2018 तक कुल 2084 चैन स्नैचिंग की वारदात हुई। इन पूरी चैन स्नैचिंग की वारदात में चोरों ने कुल मिलाकर पिछलें 6 सालों में 8 करोड़ 28 लाख 24 हजार 399 रुपये के सामानो पर हाथ साफ किया। लेकिन जीआरपी अभी तक सिर्फ 3 करोड़ 32 लाख 39 हजार 921 रुपये की संपत्ति ही बरामद कर पाई है। जो की कुल संपत्ति का सिर्फ 40 फिसदी ही है।
किस साल कितनी चैन स्नैचिंग
2013 में कुल 62 चैन स्नेचिंग की वारदातें हुई जिसमें कुल 2037885/- की संपत्ति चोरी हुई, जीआरपी ने सिर्फ 17 मामलो को ही सुलझाया और 693250/ रकम की संपत्ति बरामद की।
2014 में कुल 73 चैन स्नेचिंग की वारदातें हुई जिसमें कुल 2367789/- की संपत्ति चोरी हुई, जीआरपी ने सिर्फ 31 मामलो को ही सुलझाया और 953607 रकम की संपत्ति बरामद की।
2015 में कुल 244 चैन स्नेचिंग की वारदातें हुई जिसमें कुल 8692576/- की संपत्ति चोरी हुई, जीआरपी ने सिर्फ 77 मामलो को ही सुलझाया और 2264043 रकम की संपत्ति बरामद की।
2016 में कुल 309 न स्नेचिंग की वारदातें हुई जिसमें कुल 12053333/- की संपत्ति चोरी हुई, जीआरपी ने सिर्फ 123 मामलो को ही सुलझाया और 3371908 रकम की संपत्ति बरामद की।
2017 में कुल 341 न स्नेचिंग की वारदातें हुई जिसमें कुल 14292631/- की संपत्ति चोरी हुई, जीआरपी ने सिर्फ 128 मामलो को ही सुलझाया और 4033259 रकम की संपत्ति बरामद की।
2018 में कुल 314 चैन स्नेचिंग की वारदातें हुई जिसमें कुल 14927222 रुपये की संपत्ति चोरी हुई, जीआरपी ने सिर्फ 80 मामलो को ही सुलझाया और 3032343 रकम की संपत्ति बरामद की।
सालभर में जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें
2013 में कुल 273 जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें सामने आई जिसमें कुल 10883982/-रुपये के किमती सामान चोरी हुई। जीआरपी ने सिर्फ 144 मामलो को ही सुलझाया और 4065706 रकम की संपत्ति बरामद की।
2014 में कुल 254 जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें सामने आई जिसमें कुल 10346988/- -रुपये के किमती सामान चोरी हुई। जीआरपी ने सिर्फ 133 मामलो को ही सुलझाया और 3772819/- रकम की संपत्ति बरामद की।
2015 में कुल 160 जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें सामने आई जिसमें कुल 7219135 -रुपये के किमती सामान चोरी हुई। जीआरपी ने सिर्फ 86 मामलो को ही सुलझाया और 3115036/- रकम की संपत्ति बरामद की।
2016 में कुल 8 जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें सामने आई जिसमें कुल436000/- रुपये के किमती सामान चोरी हुई। जीआरपी ने सिर्फ 6 मामलो को ही सुलझाया और 254000/- रकम की संपत्ति बरामद की।
2017 में कुल 26 जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें सामने आई जिसमें कुल1138422/- रुपये के किमती सामान चोरी हुई। जीआरपी ने सिर्फ 22 मामलो को ही सुलझाया और 836548/- रकम की संपत्ति बरामद की।
2018 में कुल 20 जबरदस्ती चैन स्नैचिंग की वारदातें सामने आई जिसमें कुल1211600/- रुपये के किमती सामान चोरी हुई। जीआरपी ने सिर्फ 13 मामलो को ही सुलझाया और 391100/- रकम की संपत्ति बरामद की।
शकील अहमद शेख के अनुसार, पुलिस विभाग को अभी भी लोगों की सुरक्षा के लिए कई और ठोस कदम उठाने की जरुरत है। इसके साथ ही मैन्युअल रूप से चौबीस घंटे सीसीटीवी पर नजर रखने की जरूरत है।