मुंबई में बारिश (mumbai rains) की वजह से मानसूनी बुखार का प्रकोप फैल रहा है। जिसमें लेप्टोस्पायरोसिस, डेंगू, मलेरिया और स्वाइन फ्लू जैसी बीमारी शामिल है।बताया जा रहा है कि जून महीने से लेप्टोस्पायरोसिस और डेंगू के मरीजों की संख्या दोगुनी से अधिक हो गई है। साथ ही स्वाइन फ्लू (swine flu) और मलेरिया के मरीजों की संख्या में भी इजाफा हुआ है।
इस साल जुलाई महीने में काफी बारिश हुई। मुंबई में कई जगहों पर बाढ़ (flood in mumbai) की स्थिति पैदा हो गई थी। इसी वजह से रुके हुए पानी में आने जाने से 37 लोग लेप्टोस्पायरोसिस की चपेट में आ गए थे। जो जुलाई तक लेप्टोस्पायरोसिस के 96 मामलों की वृद्धि हुई। जिसमें एक मरीज की मौत की भी सूचना है।
डेंगू (dengue) के मरीजों की संख्या जुलाई में 12 से बढ़कर 48 हो गई। स्वाइन फ्लू के मरीजों की संख्या जून में केवल पांच थी, जिसमें अभी भी वृद्धि हो रही है। जुलाई में इन मरीजों की संख्या 21 हो गई है। दूषित पानी की आपूर्ति से गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल रोगियों में भी वृद्धि हुई है। जुलाई महीने में 294 गैस्ट्रोएंटेराइटिस मरीज सामने आए।
हर साल अगस्त से सितंबर के बीच डेंगू के मरीजों की संख्या में इजाफा होता है। नगर निगम (BMC) ने इस साल भी इसके बढ़ने की संभावना को देखते हुए सावधानी बरतने की अपील की है।
मूसलाधार बारिश के बाद रुके पानी से मच्छरों का प्रकोप बढ़ गया है, जिससे जून के मुकाबले मलेरिया के मरीजों की संख्या में भी इजाफा हुआ है। जुलाई में मलेरिया के 557 मामले सामने आए थे।
इस तरह रखें अपना ध्यान