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मुंबई में कांग्रेस के लिए ना नफा ना नुकसान!

2014 में कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़नेवाले कालिदास कोलंबकर विधानसभा चुनाव के पहले ही बीजेपी में शामिल हो गए जिसके देखते हुए विधानसभा चुनाव के पहले कांग्रेस के पास मुंबई में सिर्फ 4 ही विधायक बचे थे।

मुंबई में कांग्रेस के लिए ना नफा ना नुकसान!
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राज्य में हुए विधानसभा चुनाव में एक बार फिर से राज्य में बीजेपी और शिवसेना सत्ता बनाती दिख रही है। तो वही दूसरी ओर कांग्रेस और एनसीपी की सीटों में भी इस बार इजाफा हुआ है। कांग्रेस को जहा 44 सीटें मिली है तो वही एनसीपी को भी 54 सीटे मिली है। हालांकी मुंबई में कांग्रेस को इस ना ही तो नफा हुआ है और ना ही नुकसान। जहां साल 2014 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को मुंबई में 5 सीटें मिली थी तो वही दूसरी ओर इस साल के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को कुल 4 सीट ही मिली है।  हालांकी 2014 में कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़नेवाले कालिदास कोलंबकर विधानसभा चुनाव के पहले ही बीजेपी में शामिल हो गए जिसके देखते हुए विधानसभा चुनाव के पहले कांग्रेस के पास मुंबई में सिर्फ 4 ही विधायक बचे थे।


जीते 4 उम्मीदवार

कांग्रेस के उम्मीदवार असलम शेख (मलाड पश्चिम), वर्षा गायकवाड़ (धारावी) और अमीन पटेल (मुम्बादेवी) अपनी सीट बचा पाए जबकि पार्टी उम्मीदवार ज़ीशान सिद्दीकी ने शिवसेना से बांद्रा पूर्व सीट छीन ली। मुंबई कांग्रेस के वरिष्ठ नेता नसीम खान चांदीवली सीट पर 409 वोटों से हार गए। मुंबई में कांग्रेस 29 सीटों पर लड़ रही थी जबकी एनसीपी 7 सीटों पर लड़ रही थी।  


2014 के विधानसभा चुनाव में अलग अलग लड़े थे कांग्रेस एनसीपी

साल 2014 में, कांग्रेस ने मुंबई में पांच सीटें जीती थीं।तब उसने 36 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे थे। वडाला से जीतने वाले उसके मौजूदा विधायक कालिदास कोलम्बकर कुछ महीने पहले भाजपा में शामिल हो गए थे और इस बार उन्होने बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ा था।  

निरुपम ने उठाई आवाज

विधानसभा चुनाव से पहले ही कांग्रेस नेता संजय निरुपम ने पार्टी के पदाधिकारियों के खिलाफ आवाज बुलंद कर दी थी। निरुपम ने पार्टी पदाधिकारियों पर आरोप लगाया की वह उन्हे पार्टी से किनारे करने की कोशिश कर रहे है।  इसके साथ ही निरुपम ने ये भी कहा की राहुल गांधी और सोनिया गांधी के नेतृत्व पर उन्हे कोई शक नहीं है लेकिन इन दोनों के चारो और लोगों ने उन्हे जो घेर रखा है वह पार्टी को खत्म करके ही रहेंगे। 


409 वोटों से हारे नसीम खान

राज्य के पूर्व मंत्री और चांदिवली से विधायक रहे नसीम खान को सिर्फ  409 वोटों से हार का सामना करना पड़ा। चांदिवली विधानसभा में कांग्रेस के नसीम खान और शिवसेना के दिलीप लांडे के बीच मुकाबला था।शिवसेना के दिलीप लांडे ने सिर्फ 409 वोटों से नसीम खान को हराया।  

कांटे की टक्कर में अस्लम शेख की जीत

मालाड विधानसभा में इस बार कांग्रेस के अस्लम शेख और बीजेपी के रमेश सिंह में कड़ा मुकाबला था। हालांकी  मतों की अंतिम गिनती तक आते आते अस्लम शेख ने अपनी जीत दर्ज की। 10 हजार से भी अधित मतों से अस्लम शेख ने अपनी जीत दर्ज की। 

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