महाराष्ट्र में महाविकास आघाड़ी (MVA) सरकार में चल रहे तनाव की अटकलों के बीच भारतीय जनता पार्टी (BJP) के वरिष्ठ नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने गुरुवार को कहा कि, यदि कांग्रेस (Congress) और एनसीपी (NCP) उद्धव ठाकरे (uddhav thackeray) से समर्थन वापस ले लेती है तो ऐसी स्थिति में भाजपा (BJP) को महाराष्ट्र में शिवसेना (shiv sena) के नेतृत्व वाली सरकार को समर्थन देना चाहिए।
MVA की स्थिरता पर निशाना साधते हुए, स्वामी ने कहा कि यदि कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) सरकार से समर्थन वापस लेते हैं तो महाराष्ट्र में फिर से राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) शासन स्थापित करने के लिए भाजपा को अपना समर्थन देना चाहिए। राष्ट्रीय हित में बीजेपी को महाराष्ट्र में समर्थन और फिर से एनडीए सरकार का विस्तार करना चाहिए।
स्वामी की यह टिप्पणी उस समय आई जब इस समय महाराष्ट्र में चल रही MVA की सहयोगी दल कांग्रेस और शिव सेना के बीच सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है।
If Congi and NCP withdraw support from Uddhav government then in the national interest BJP must extend support and re-form NDA govt in Maharashtra
— Subramanian Swamy (@Swamy39) June 18, 2020
अभी हाल ही में कांग्रेस के वरिष्ठ नेता बालासाहेब थोराट और अशोक चव्हाण ने उद्धव ठाकरे-सरकार द्वारा अपनी पार्टी को निर्णय प्रक्रिया में शामिल नहीं करने पर खुलकर अपनी नाराजगी व्यक्त की थी।
इससे पहले, शिवसेना ने कांग्रेस पर यह आरोप लगाते हुए हमला किया है कि यह एक पुरानी खाट है जो कुछ समय के बाद कुरकुराने लगती है।
इन दोनों पार्टियों के बीच मतभेद का एक कारण राज्यपाल के कोटे से नामित 12 विधान परिषद सीटों के वितरण को लेकर भी है। कांग्रेस ने इस बारे में 'समान अधिकार' की बात कही है।
हालांकि, एक दिन पहले ही महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष थोराट ने ठाकरे से मुलाकात की। मातोश्री में हुई बैठक में थोराट के साथ चव्हाण भी थे।
बैठक के बाद, थोराट ने कहा कि गठबंधन को स्थिर रखने के लिए हमने कुछ मुद्दों पर बात की। बातचीत सकारात्मक रही।