हिमालय ब्रिज हादसे में बीएमसी सहायक अभियंता गिरफ्तार

पुलिस ने इस मामले में अभी तक दो लोगों को गिरफ्तार किया है।

हिमालय ब्रिज हादसे में बीएमसी सहायक अभियंता गिरफ्तार
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सीएसटी स्टेशन के पास हिमालय ब्रिज हादसा मामले में अब बीएमसी के सहायक अभियंता को गिरफ्तार किया गया है। बीएमसी अभियंता का नाम एस.एफ ककुलते है, ब्रिज की देखभाल का काम ककुलते के ही जिम्मे ही था।गिरफ्तारी के बाद ककुलते को 5 अप्रैल तक पुलिस कस्टडी में भेज दिया गया। पुलिस प्रवक्ता मंजूनाथ शिंगे ने कहा कि दुर्घटना के संबंध में इस तरह की दूसरी कार्रवाई अब तक की गई है। पुलिस को शक है की इस मामले में अभी और भी लोगों को गिरफ्तार किया जा सकता है।  

पुलिस ने किया मामला दर्ज 

बीएमसी मुख्यालय के पास 13 मार्च को हिमालय ब्रिज गिरने के कारण 6 लोगों को मौत हो गई थी, इसके साथ ही कई लोग घायल भी हो गए थे। इस संबंध में आजाद मैदान पुलिस ने धारा 304 (ए) 337 और 338 के तहत मामला दर्ज किया। जांच के बाद पुलिस ने नीरज के खिलाफ  धारा 304 (ए) को 304-2 कते तहत मामला दर्ज किया।

मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस ने इस मामले में 24 घंटे के अंदर दोषियों की जिम्मेदारी तय करने का आदेश दिय़ा और इसके साथ ही बीएमसी को 24 घंटे के अंदर इसके लिए रिपोर्ट भी पेश करने के लिए कहा। बीएमसी ने अपनी जांच रिपोर्ट के बाद 4 बीएमसी कर्मचारियों को निलंबित कर दिया था तो वही पूल का ऑडिट करनेवाले   "डीडी देसाई एसोशिएट इंजिनिअर कन्सलटन्सी एंड एनलाइस्ट प्रा. लिमिटेड" को भी इस मामले में आरोपी पाया।  जिसके बाद पुलिस ने कंपनी के मालिक को भी गिरफ्तार कर लिया।  

बीएमसी फिर से कर रही है पूलों का निरीक्षण 

14 मार्च को हिमालय पुल के गिरने के बाद बीएमसी ने 16 पुलों और सबवे की मामूली मरम्मत करने की योजना बनाई है। 16 पुलों का चयन प्रो डीडी देसाई इंजीनियरिंग फर्म की एक रिपोर्ट के आधार पर किया गया है। डीडी देसाई इंजीनियरिंग फर्म ने ही हिमालय पुल को सुरक्षित बताया था, हालांकी ब्रिज के गिरने के बाद देसाई फर्म के मुखियां को गिरफ्तार कर लिया गया है। प्रोफेसर डीडी देसाई उन तीन फर्मों में से एक थे, जिन्होंने शहर के 314 पुलों में से 305 का ऑडिट किया था।

देसाई की फर्म ने जोन एक (फोर्ट, बायकुला, मरीन ड्राइव, डोंगरी, चंदनवाड़ी) और जोन दो (दादर, वर्ली, परेल, प्रभुदेवी) में संरचनाओं का सर्वेक्षण किया था। इसमें 17 पुलों को अच्छा, 43 को मामूली मरम्मत की जरूरत , 19 को बड़ी मरम्मत की जरूरत और तीन जीर्ण-शीर्ण बताया था। बीएमसी ने तब कहा था फर्म द्वारा निरीक्षण किए गए सभी पुलों का फिर से निरीक्षण करना होगा।

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