बच्चों के साथ घटने वाली सेक्शुअल हैरिसमेंट की घटनाओं को रोकने के लिए केंद्र सरकार ने अब पोक्सो कानून में संसोधन करके काफी सख्त कर दिया है। केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद ने शुक्रवार को इसकी जानकरी पत्रकारों को देते हुए बताया कि बच्चों के यौन अपराधों से बाल संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम को विभिन्न धाराओं में संशोधन को मंजूरी दी गयी है।
दवाइयों या हार्मोन के इस्तेमाल पर लगेगी रोक
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में इस कानून को मंजूरी दी गयी। प्रसाद ने कहा कि इस संसोधन के जरिये पॉक्सो अधिनियम की पूरी संरचना न केवल मजबूत होगी बल्कि इसका विस्तार भी होगा। अब इस कानून में बच्चों से उनकी बाल्यावस्था छीनने के लिए दवाइयों या हार्मोन का इस्तेमाल नहीं किया जा सकेगा।
पॉक्सो अधिनियम पर कड़ा कानून
केंद्रीय मंत्री ने आगे बताया कि पॉक्सो अधिनियम की संबद्ध धारा-9 को और अधिक कड़ा बनाया गया है। साथ ही पॉक्सो अधिनियम, 2012 की धारा 14 और धारा 15 में भी संशोधन का प्रस्ताव कर चाइल्ड पोर्नोग्राफी पर लगाम लगाई जाएगी। इसके अलावा चाइल्ड पोर्नोग्राफी सामग्री को नष्ट नहीं करने/डिलीट नहीं करने पर जुर्माना लगाने का प्रस्ताव भी किया गया है। यही नहीं अगर कोई व्यक्ति चाइल्ड पोर्नोग्राफी सामग्री को व्यापारिक उद्देश्य के लिए उसका भंडारण करेगा या फिर उसे अपने पास रखेगा तो उसके खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की जाएगी।