नेवी में नौकरी दिलाने के नाम पर साढ़े 9 लाख रुपए की ठगी

पुलिस को जांच में इस बात का भी पता चला कि लक्ष्मण नेवी में काम नहीं करता था बल्कि वह फर्जी आईडी कार्ड बना कर और ड्रेस पहन कर लोगों को झांसा देता था

नेवी में नौकरी दिलाने के नाम पर साढ़े 9 लाख रुपए की ठगी
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इंडियन नेवी में नौकरी दिलाने के नाम ठगी करने के आरोप में  नेहरू नगर पुलिस ने लक्ष्मण किसन बेंडकोली (34) नामके आरोपी को गिरफ्तार किया है। आरोप है कि लक्ष्मण किसन बेंडकोली ने एक युवक आनंद पाटिल को इंडियन नेवी में नौकरी दिलाने के नाम पर उससे 9.50 लाख रूपये की ठगी की। यही नहीं लक्ष्मण पहले भी इस तरह की ठगी को अंजाम दे चुका है।

क्या है मामला?

पुलिस के मुताबिक पीड़ित आनंद पाटिल बेरोजगार रहता था, जो छोटे मोटे काम करके अपने परिवार का पेट पालता था। आनंद के भाई का लड़का शंकर कुछ महीने पहले ही बारहवीं पास करके नौकरी की तलाश में मुंबई आया था। उस समय आनंद ने नौकरी के लिए शंकर को अपने मित्र शरद पवार के पास भेज दिया। शरद का एक पड़ोसी लक्ष्मण भी वहीं था, जो कथित रूप से एक नेवी अधिकारी की गाड़ी चलाने का दावा किया करता था। जब शरद ने नौकरी के लिए लक्ष्मण से पूछा तो लक्ष्मण ने नेवी में नौकरी के दिलाने के नाम पर साढ़े 3 लाख रुपए की मांग की। साथ ही उसने यह भी कहा कि इस नौकरी के लिए किसी भी प्रकार की कोई परीक्षा और इंटरव्यूह भी नहीं देना पड़ेगा।  

सरकारी नौकरी की लालच में आनंद ने अपने घर में रखेगहने को गिरवी रख कर और कुछ पैसे उधार लेकर लक्ष्मण को दिया, जिसके बाद लक्ष्मण ने शंकर को जल्द ही नौकरी दिलाने का आश्वासन दिया। हालांकि काफी समय बीत जाने के बाद जब शंकर को नौकरी नहीं मिली तो उसने फोन करके लक्ष्मण से पूछा तो उसने कुछ बहाना बता दिया। इसी तरह से जब-जब शंकर लक्ष्मण से नौकरी के बारे में पूछता तो वह कुछ न कुछ बहाना बता देता था.

एक दिन जब शंकर ने लक्ष्मण को फोन किया तो उसका फोन नहीं लगा, कई बार प्रयास करने के बाद भी जब फोन नहीं लगा तो शंकर लक्ष्मण के घर गया. उस समय लक्ष्मण का घर बंद था। शंकर ने जब आसपास के लोगों से पूछा तो पता चला कि शंकर कुछ दिनों से परिवार सहित गायब है।

इसके बाद शंकर और उसके परिवार वालों ने लक्ष्मण के खिलाफ नेहरू नगर पुलिस में ठगी की शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने जब लक्ष्मण के खिलाफ जांच शुरू की तो पता चला कि लक्ष्मण ने महाराष्ट्र के अन्य जिलों से भी नौकरी के नाम पर कई लोगों के साथ ठगी की है। पुलिस को जांच में इस बात का भी पता चला कि लक्ष्मण नेवी में काम नहीं करता था बल्कि वह फर्जी आईडी कार्ड बना कर और ड्रेस पहन कर लोगों को झांसा देता था, अब पुलिस आगे की जांच कर रही है।

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