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राज्य सरकार बना सकती है लव-जिहाद के खिलाफ कानून

राज्य में जबरन धर्म परिवर्तन या लव-जिहाद के खिलाफ जरूरत पड़ने पर कानून बनाया जाएगा

राज्य सरकार बना सकती है लव-जिहाद के खिलाफ कानून
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जरूरत पड़ी तो प्रदेश में जबरन धर्मांतरण या लव-जिहाद के खिलाफ कानून बनाया जाएगा। उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने विधान परिषद को सूचित किया कि अन्य राज्यों द्वारा तैयार कानूनों का अध्ययन करने के बाद निर्णय लिया जाएगा। (Maharashtra government plans to make law against love-jihad clarifies devendra fadnavis

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बीजेपी विधायक गोपीचंद पडलकर के एक सवाल  का जवाब देते हुए फडणवीस ने कहा, 'अगर कोई धोखे, जबरदस्ती या लालच देने की नीयत से शादी कर रहा है तो इसे रोका जाना चाहिए.' पुलिस महानिदेशक को गैर-धार्मिक या लव जिहाद के ऐसे मामलों की शीघ्रता से जांच करने के लिए गाइडलाइन निर्देश तैयार किया जाएगा।

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नेता प्रतिपक्ष अंबादास दानवे ने पूछा कि सरकार द्वारा गठित अंतर्धार्मिक विवाह परिवार समिति को अब तक कितनी शिकायतें प्राप्त हुई हैं और सरकार ने क्या कार्रवाई की है। 

इसका जवाब देते हुए फडणवीस ने कहा कि समिति श्रद्धा वाकर हत्याकांड के बाद माता-पिता और बेटी से संपर्क कर फिर से संवाद कायम करने का काम करती है।  अगर समय रहते श्रद्धा को मदद मिल जाती तो हत्या को रोका जा सकता था। हालांकि अभी कितनी शिकायतें मिली हैं इसकी जानकारी मेरे पास नहीं है।

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प्रेम विवाह के बाद कुछ मामले थाने में जाते हैं जहां लड़की अपने माता-पिता के साथ रहने को तैयार नहीं होती है। ऐसी लड़कियों के रहने की व्यवस्था एक आश्रम में की जानी है। ऐसे मामलों का अध्ययन कर रिपोर्ट तैयार की जाए। उपसभापति नीलम गोरे ने निर्देश दिया कि लव जिहाद अधिनियम के संबंध में समूह नेताओं, बुद्धिजीवियों और इस विषय में काम करने वाले लोगों की एक संयुक्त चिकित्सा समिति बनाकर निर्णय लिया जाए।

50 शक्ति गृह

लव जिहाद और अन्य मामलों में लड़कियों को समायोजित करने के लिए 50 शक्ति सदनों घरों का निर्माण किया जाएगा जहां लड़की खुद घर वापस जाने को तैयार नहीं है या उसके माता-पिता उसे स्वीकार नहीं करते हैं। इसके लिए उपमुख्यमंत्री फडणवीस ने बताया कि केंद्र 60 प्रतिशत वित्तीय सहायता प्रदान करेगा, जबकि राज्य सरकार 40 प्रतिशत वित्तीय सहायता प्रदान करेगी।

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