गृहमंत्री अमित शाह(Amit shah) के मंत्रालय ने आखिरकार मान लिया है की देश में कोई टुकड़े-टुकड़े(tukde tukde gang) गैंग नहीं है और इस बारे में उसके पास कोई जानकारी नहीं है। एक आरटीआई के जवाब में गृह मंत्री अमित शाह के अधीन आने वाले गृह मंत्रालय ने जवाब दिया है की देश में कोई टुकड़े-टुकड़े गैंग नहीं है। पत्रकार साकेत गोखले ने गृह मंत्रालय ने एक आरटीआई डालकर इस बारे में डजानकारी मांगी थी। जिसके गृहमंत्रालय में ये जवाब दिया है।
टुकड़े-टुकड़े गैंग क्या है?
आरटीआई(RTI) में पूछा गया था कि आखिर टुकड़े-टुकड़े गैंग क्या है? इसकी परिभाषा क्या है? इस गैंग के सदस्य कौन-कौन हैं? इस गैंग पर यूएपीए के तहत पाबंदी क्यों नहीं लगाई गई और किस कानून या नियम के तहत इस पर कार्रवाई की जाएगी? जब गृहमंत्रालय ने उन्हे जवाब दिया की देश में कोई टुकड़े-टुकड़े गैंग नहीं है तब पत्रकार साकेत गोखले ने चुनाव आयोग का दरवाजा खटखटाने का फैसला किया है।
चुनाव आयोग को लिखेंगे पत्र
साकेत गोखले (SAKET GOKHALE)का कहना है की "मैं अब इस पर संज्ञान लेने के लिए चुनाव आयोग को लिख रहा हूं, गृह मंत्री अमित शाह को बताना चाहिए कि उन्होंने रैली में इस शब्द का इस्तेमाल क्यों किया या उन्हें लोगों से झूठ बोलने और उन्हें गुमराह करने के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगनी चाहिए’"
क्या है मामला
देश के गृहमंत्री अमित शाह ने कई बार रैलियों में टुकड़े-टुकड़े गैंग को जिक्र करते हुए इस गैंग को देश तोड़नेवाला बताया है। बीते 26दिसंबर को गृहमंत्री अमित शाह ने एक जनसभा(rally) में कहा था कि टुकड़े-टुकड़े गैंग को सजा दी जाएगी। उनके अलावा पीएम मोदी समेत सरकार के अन्य कई मंत्रियों और बीजेपी(bjp) नेताओं के बार-बार टुकड़े-टुकड़े गैंग की बात कर चुके है।
टुकड़े-टुकड़े गैंग का नाम सबसे पहले साल 2016 में जेएनयू में छात्रों के आंदोलन के समय लिया गया था। बीजेपी के कई नेताओं ने कन्हैया कूमार और उमर खालिद को इस टूकड़े टूकड़े गैंग का सदस्य बताया। यहां तक की CAA पर देशभर में हो रहे विरोध को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी(narendra modi) और गृहमंत्री अमित शाह(amit shah) ने कई रैलियों में टुकड़े-टुकड़े गैंग बोलकर निशाना साधा है।
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