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'आंदोलनकारियों पर कार्रवाई करो और मराठा आंदोलन को बैन करो' हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर की गयी मांग


'आंदोलनकारियों पर कार्रवाई करो और मराठा आंदोलन को बैन करो' हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर की गयी मांग
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बॉम्बे हाई कोर्ट द्वारा चेतावनी दिए जाने के बाद भी मराठा आरक्षण की मांग कर रहे आंदोलनकारियों ने 9 अगस्त को आंदोलन के दौरान कई स्थानों पर तोड़फोड़ और आगजनी की घटनाओं को अंजाम दिया और सरकारी सम्पत्ति को नुकसान पहुंचाया। अब इस हिंसक आंदोलन के कारण कोर्ट में याचिका दाखिल कर आंदोलनकारियों पर कड़ी कार्रवाई करने की मांग की गयी है।


कोर्ट के आदेश की उड़ी धज्जियां 
मराठा आरक्षण की मांग कर रहे मराठा मोर्चा समन्वय समिती के द्वारा 9 अगस्त को राज्यव्यापी आंदोलन की घोषणा की गयी थी, लेकिन इस हड़ताल में मराठा मोर्चा ने कहीं भी हिंसक आंदोलन नहीं करने का वादा किया था साथ ही कोर्ट ने भी आंदोलनकारियों को हिंसक आंदोलन नहीं करने और सरकारी सम्पत्तियों को नुकसान नहीं पहुंचाने के लिए चेताया था।

आंदोलन हुआ हिंसक 
बावजूद इसके कोर्ट के आदेशों की धज्जियां उड़ाते हुए आंदोलनकारियों ने पुणे, औरंगाबद, नासिक, सांगली और नागपूर सहित महाराष्ट्र के कई इलाकों में हिंसक आंदोलन तो किया थी साथ ही तोड़फोड़ और आगजनी कर सरकारी सम्पत्तियों को नुकसान भी पहुंचाया। इन आंदोलनकारियों को रोकने के लिए कई जगह पुलिस ने लाठीचार्ज और हवाई फायर भी किये। इस आंदोलन से कई लोगों को मुश्किलों का भी करना पड़ा।

आंदोलन पर लगे बैन 
इस हिंसक आंदोलन को देखते हुए द्वारकानाथ पाटील की तरफ से आशीष गिरी नामके एक वकील ने कोर्ट में याचिका दाखिल कर आंदोलनकारियों पर कार्रवाई करने और मराठा आंदोलन पर प्रतिबंध लगाने की मांग की है।


वकील आशीष गिरी ने कहा कि मराठा समुदाय द्वारा आरक्षण की मांग करना ठीक है लेकिन उसके लिए हिंसा करना ठीक नहीं है।आंदोलन से कई सरकारी और प्राइवेट सम्पत्तियों को नुकसान पहुंचा है। आंदोलनकारियों पर कार्रवाई करके नुकसान की भरपाई करनी चाहिए।  

पढ़ें: Live Updates : महाराष्ट्र बंद

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