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BEST-MMRDA के बीच सुलझा विवाद, नहीं बंद होंगी हाईब्रिड बसें

इन एसी युक्त हाईब्रिड बसों में यात्रियों को अनेक सुविधाएं उपलब्ध होती हैं। इन बसों की देखभाल और व्यवस्था करने का पूरा जिम्मा बेस्ट के पास है, जबकि बसों को खरीदना उनके लिए धन मुहैया कराना इसकी जिम्मेदारी MMRDA के पास है।

BEST-MMRDA के बीच सुलझा विवाद, नहीं बंद होंगी हाईब्रिड बसें
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बेस्ट और MMRDA के सहयोग से चलने वाली हाइब्रिड बसें अब बंद नहीं होंगी, क्योंकि बेस्ट और MMRDA के बीच पैदा हुआ विवाद अब सुलझ गया है। MMRDA की तरफ से जल्द ही बेस्ट को सवा दो करोड़ रुपए देने का फैसला किया गया है। इसके पहले विवाद के चलते बेस्ट ने इन बसों को बंद करने का निर्णय लिया था जिससे यात्रियों में मायूसी फ़ैल गयी थी।

क्या था मामला?
आपको बता दें कि न नफा न नुकसान की तर्ज पर MMRDA ने पब्लिक ट्रांसपोर्ट सेवा मजबूत करने के लिए साल 2018 में बेस्ट के सहयोग से इलेक्ट्रिक हाईब्रिड बस सेवा शुरू किया था। MMRDA ने 50 करोड़ रुपए खर्च करके 25 हाईब्रिड बसों को खरीदा था। ये बसें बांद्रा स्टेशन-बीकेसी, बोरीवली-बीकेसी, ठाणे-बीकेसी जैसे रूट पर चलती हैं। नौकरीपेशा लोगों के लिए यह बसें पीक ऑवर में काफी लाभदायक साबित होती हैं।

इन एसी युक्त हाईब्रिड बसों में यात्रियों को अनेक सुविधाएं उपलब्ध होती हैं। इन बसों की देखभाल और व्यवस्था करने का पूरा जिम्मा बेस्ट के पास है, जबकि बसों को खरीदना उनके लिए धन मुहैया कराना इसकी जिम्मेदारी MMRDA के पास है।

बेस्ट-MMRDA के करार के मुताबिक 'वाइबिलिटी गैप फंडिंग' के रूप में सवा 2 करोड़ रुपए MMRDA कि तरफ से बेस्ट को देना है। बेस्ट ने इस संदर्भ में MMRDA को बिल भी भेजा था लेकिन यह रकम अभी तक बेस्ट को नहीं मिली है। अभी हाल ही में बेस्ट की बैठक में यह मुद्दा भी उठा, जिसमें यह फैसला किया गया कि अगर इस रकम को MMRDA ने जल्द नहीं चुकाया तो बेस्ट इन हाईब्रिड बसों को बंद कर देगी, क्योंकि बेस्ट पहले से ही आर्थिक तंगी से जूझ रही है, ऐसे में बेस्ट अब इस अतिरिक्त भार को नहीं सह सकती।

इस विषय पर MMRDA के प्रवक्ता दिलीप कवठकर ने मुंबई लाइव से बात करते हुए बताया कि MMRDA की तरफ से बेस्ट को सवा 2 करोड़ रुपए देने की प्रक्रिया शुरू है। यह रकम जल्द ही बेस्ट को दे दी जाएगी।


जबकि बेस्ट के महाव्यवस्थापक सुरेंद्रकुमार बागडे का कहना है कि MMRDA ने सवा दो करोड़ रुपए देने की हामी भरी है। आशा है कि यह रकम हमे जल्द ही मिल जाएगी।

बेस्ट और MMRDA के बीच यह विवाद सुलझ जाने के कारण यात्रियों ने अब राहत की सांस ली है। अब उनकी यात्रा नियमित रूप से जारी रह सकेगी।

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