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वाहन चालकों के लिए नया नियम, अब साथ नहीं रखना होगा कागज

केंद्र सरकार ने मोटर वाहन नियम 1989 में किए गए विभिन्न संशोधनों के बारे में एक अधिसूचना जारी की है, जिसके बारे में सड़क परिवहन और राजमार्ग विभाग ने इस संबंध में जानकारी प्रदान की।

वाहन चालकों के लिए नया नियम, अब साथ नहीं रखना होगा कागज
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वाहन चालकों के लिए एक महत्वपूर्ण खबर है। वाहन चलाते समय ड्राइविंग लाइसेंस, पंजीकरण प्रमाण पत्र, बीमा, प्रदूषण प्रमाण पत्र (पीयूसी) जैसे दस्तावेजों को ले जाने के लिए ड्राइवरों की आवश्यकता नहीं होगी। कुल मिलाकर वाहन चलाते समय अगर आपके पास वाहन से जुड़े कागजात नहीं होंगे तो भी आपको पकड़े जाने का भय नहीं होगा।

केंद्र सरकार ने मोटर वाहन नियम 1989 में किए गए विभिन्न संशोधनों के बारे में एक अधिसूचना जारी की है, जिसके बारे में सड़क परिवहन और राजमार्ग विभाग ने इस संबंध में जानकारी प्रदान की।

प्राप्त जानकारी के अनुसार, मोटर वाहन नियमों में महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं। 1 अक्टूबर से, ड्राइविंग लाइसेंस और ई-चालान सहित वाहन संबंधी तमाम दस्तावेजों को सूचना प्रौद्योगिकी पोर्टल के माध्यम से पंजीकृत किया जाएगा।  लाइसेंस, ई-चालान पंजीकरण आदि जैसे सभी काम इलेक्ट्रॉनिक पोर्टल के माध्यम से किए जाएंगे। 1 अक्टूबर से, वाहन से संबंधित दस्तावेज और ई-चालान की जानकारी पोर्टल के माध्यम से परिवहन विभाग के पास संग्रहीत की जाएगी और समय-समय पर अपडेट की जाएगी।

इसके लिए आरटीओ द्वारा डिजिटल दस्तावेजों को सत्यापित करना होगा। इसके बाद ड्राइवर को डिजिटल दस्तावेज़ ले जाने की अनुमति होगी।

वाहन चलाते समय मोबाइल का प्रयोग

  •  वाहन चलाते समय मोबाइल का प्रयोग किया जा सकता है।
  •  लेकिन यह केवल नेविगेशन के लिए होना चाहिए, यानी ये केवल रास्ता खोजने के लिए ही, ताकी ड्राइवर रास्ता न भूल सके। ड्राइवरों को दिए गए निवेगेशन के लिए मोबाइल का उपयोग कैसे किया जाना चाहिए, इसकी नियमावली मंत्रालय द्वारा दी गई है।
  • वाहन के डैशबोर्ड पर मोबाइल फोन लगाना अनिवार्य होगा।
  • चालक का ध्यान विचलित न हो, इसका ध्यान रखा जाना चाहिए।
  • ड्रायव्हरचे लक्ष विचलित होणार नाही याची खबरदारी घ्यावी. 
  • मोबाईल फोन हाथ मे लेकर नेविगेशन का उपयोग करना गैरकानूनी होगा।

मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि आईटी सेवाओं और इलेक्ट्रॉनिक निगरानी के इस्तेमाल से यातायात नियमों को लागू करने में मदद मिलेगी और मोटर चालकों का उत्पीड़न भी रुकेगा।

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