बॉम्बे हाई कोर्ट ने भीम आर्मी द्वारा दायर उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें मांग कि गयी थी कि भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर आज़ाद को पुणे में रैली करने की अनुमति दी जाए। यह याचिका रविवार को दाखिल की गयी थी. जिसकी सुनवाई सोमवार को हुई।
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चंद्रशेखर आजाद को रैली करने की अनुमति भले ही न दी गयी हो लेकिन उन्हें भीमा-कोरेगांव जाने की अनुमति दी गयी है। इसके पहले प्रशासन ने इस रैली को मंजूरी नहीं दी थी क्योंकि पिछले साल 1 जनवरी के दिन ही यहां कार्यक्रम के दौरान हिंसा हो गयी थी जिसमें एक शख्स की मौत हो गयी थी। इसके बाद दलित संगठनो ने राज्य भर में हिंसात्मक आन्दोलन शुरू कर दिया था।
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महाराष्ट्र दौरे पर आए आजाद को प्रशासन की तरफ से मुंबई के वर्ली में भी रैली करने से मना कर दिया गया था। इसके पहले मुंबई पुलिस ने उन्हें मालाड के एक होटल में 48 घंटे तक नजरबंद कर दिया गया था। मुंबई में कार्यक्रम को मंजूरी नहीं मिलने के बाद भीम आर्मी की तरफ से पुणे में रैली करने की अनुमति को प्रशासन ने नामंजूर कर दिया था, जिसके बाद कोर्ट में याचिका दाखिल की गयी थी।
मुंबई लाइव से बाते करते हुए भीम आर्मी के महाराष्ट्र प्रमुख अशोक कांबले ने कहा कि हम अदालत के आदेश को स्वीकार करते हैं और हम पुणे में कोई रैली नहीं करेंगे। हालांकि, 2 जनवरी के बाद आजाद महाराष्ट्र में हम बैठक करेंगे।
बैठक में क्या करेंगे इस पर कांबले ने कुछ भी बोलने से अभी इनकार कर दिया है।