राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने सोमवार 25 मई, 2020 को अचानक महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी से मुलाकात की। इस बैठक में जिस बात पर चर्चा हुई, उसे लेकर सभी उत्सुक थे। लेकिन यह सिर्फ एक सद्भावना मुलाकात। बैठक में एनसीपी नेता प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि इसके अलावा राज्य में कोरोना की स्थिति पर भी चर्चा हुई
इससे पहले, शिवसेना नेता सांसद संजय राउत ने इसी तरह राज्यपाल से मुलाकात की थी और सभी को भ्रमित किया था। उसके बाद शरद पवार भी राज्यपाल से मिलने गए और राजनीतिक हलकों में चर्चा शुरू हुई। पिछले कुछ दिनों से, मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के साथ, सत्तारूढ़ महाविकास गठबंधन के मंत्री और भाजपा नेता कोरोना संकट को लेकर लगातार आक्रामक बने हुए हैं।
Paid a courtesy visit to the Hon. Governor of Maharashtra Shri Bhagat Singh Koshyari along with Sharad Pawar saheb. During this visit, various issues of the state on the backdrop of the #Corona outbreak were discussed with his excellency.@maha_governor @BSKoshyari @PawarSpeaks pic.twitter.com/WsQy5iICYO
— Praful Patel (@praful_patel) May 25, 2020
सरकार ने यह भी शिकायत की है कि केंद्र श्रमिको को उनके गृह राज्यों में वापस भेजने के लिए विशेष ट्रेन उपलब्ध कराने में सहयोग नहीं कर रहा है। ऐसा कहा जाता है कि शरद पवार ऐसी सभी घटनाओं की पृष्ठभूमि के खिलाफ मध्यस्थ के रूप में राजभवन गए थे।
इस बारे में पूछे जाने पर, बैठक के बाद बाहर आए एनसीपी नेता प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि यह सिर्फ एक सद्भावना यात्रा थी। जब से गवर्नर भगत सिंह कोश्यारी महाराष्ट्र आए थे, वे पवार से अनुरोध कर रहे थे कि वे चाय के लिए राजभवन आएं। लेकिन टाइमिंग सही नहीं थी।