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रेलवे ट्रैक पर उतरे सांसद गोपाल शेट्टी


रेलवे ट्रैक पर उतरे सांसद गोपाल शेट्टी
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मलाड में आज सुबह रेल विकास कार्य शुरू होने के दौरान रेलवे ट्रैक के किनारे से  जुग्गी बस्तियों को साफ करने का काम शुरू किया गया।  प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की पहल है कि सरकार की ओर से हर झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले को वैकल्पिक घर दिया जाए। सरकारी अधिकारी इन पहलों को भूल जाते हैं और अचानक आ जाते हैं और वैकल्पिक स्थलों की व्यवस्था किए बिना जुग्गी बस्तियों को ध्वस्त कर देते हैं।

इस दौरान उत्तर मुंबई से भाजपा सांसद गोपाल शेट्टी घटनास्थल पर पहुंच गए।अधिकारीवर्ग से मलाड में रेलवे की जमीन पर झुग्गी बस्ती के लिए पुनर्वास योजना पर भी चर्चा की। इस मौके पर सांसद गोपाल शेट्टी सहित भाजपा के सैकड़ों नेता, पदाधिकारी एवं नागरिक उपस्थित थे।


सांसद गोपाल शेट्टी ने कहा कि "केंद्र सरकार ने आवास योजना की घोषणा की है। प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदीजी ने केंद्र सरकार की जमीन पर झुग्गी-झोपड़ी वालों को वैकल्पिक आवास उपलब्ध कराने के लिए एक कानून बनाया है। और रेलवे अधिकारियों को प्रधानमंत्री के आदेश को मानना नहीं है। और मैं अधिकारियों का निश्चित रूप से विरोध करूंगा जो प्रधानमंत्री के आदेशों और पहलों को स्वीकार नहीं करते हैं, जब विकास कार्य का आरंभ हो रहा हो, तब उस भूमि पर प्रभावित जुग्गी बस्तियों का समुचित और विधिपूर्वक पुनर्वास किया जाए। विकास कार्य होना चाहिए, आने वाले समय में रेलवे लाइन को बढ़ाया जाए,  इसके लिए आवश्यक निर्णय लिया जाएगा" 

इस मलाड रेलवे भूमि पर झुग्गीवासियों के पास 1990 के सभी सरकारी प्रमाण हैं। आज मुंबई शहर में 180 फीट और 225 फीट के हजारों सरकारी घर पंद्रह या बीस साल से बंद पड़े हैं। 300 फीट का घर देने के फैसले के बाद से कोई भी कम फीट का घर नहीं स्वीकार करते। मैं इन जोपड़पट्टीवासियों को समझाऊंगा और यह रेलवे इन सभी बस्तियों को रेलवे जमीन से हटाने में मदद करुंगा । इस संदर्भ में मैंने मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री को पत्र भी लिखे हैं । इसके अलावा, मेरा निवेदन है कि रेलवे अधिकारियों, केंद्र सरकार के अधिकारियों और राज्य सरकार के अधिकारियों, मंत्रियों की एक संयुक्त बैठक आयोजित की जानी चाहिए।

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